Thursday 6 October 2016

डॉक्टर रोज बताएं, कितने देखे मरीज


-हर माह पांच तारीख को भेजनी होगी डायरी, तभी मिलेगा वेतन
-सीएमएस व सीएमओ हर सप्ताह महानिदेशक को भेजेंगे रिपोर्ट
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राज्य ब्यूरो, लखनऊ: अस्पतालों से गैरहाजिर डॉक्टरों पर लगाम कसने के लिए स्वास्थ्य विभाग ने एक और प्रयास की पहल की है। अब डॉक्टरों को रोज बताना होगा कि उन्हें कितने मरीज देखे। हर माह पांच तारीख को उनकी डायरी आने के बाद ही अगले माह वेतन मिलेगा। इसके अलावा मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) व अस्पतालों के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक (सीएमएस) हर सप्ताह स्वास्थ्य महानिदेशक को अपनी रिपोर्ट भेजेंगे।
डॉक्टरों के समय पर अस्पताल न पहुंचने से परेशान सरकार ने उनकी दैनिक मॉनीटरिंग का फैसला लिया है। मुख्य सचिव ने इस बाबत जारी आदेश में कहा है कि सभी चिकित्सक बाह्यï रोगी विभाग (ओपीडी) में देखे गए मरीजों का पूरा ब्यौरा ओपीडी रजिस्टर के माध्यम से अनुरक्षित करेंगे। साथ ही उन्हें रोज अपनी डायरी भरनी होगी, जिसमें बताना होगा कि कितने मरीज देखे और अस्पताल में भर्ती मरीजों को देखने के लिए कितने राउंड किये। सर्जन को रोज होने वाली सर्जरी की जानकारी देनी होगी, वहीं स्त्री एवं प्रसूति रोग विशेषज्ञों को सामान्य व सीजेरियन प्रसव की अलग-अलग जानकारी देनी होगी। हर हाल में पिछले माह की दैनिक डायरी अगले माह की पांच तारीख को अपने अधिकारी के पास जमा करनी होगी। ऐसा न करना उत्तर प्रदेश सरकारी सेवक नियमावली, 1999 के अंतर्गत कदाचार माना जाएगा और तदनुरूप कठोर कार्रवाई की जाएगी।
मुख्य सचिव के मुताबिक उक्त डायरी को उपस्थिति रजिस्टर के साथ डॉक्टरों की कार्यदायी उपस्थिति के प्रमाण के रूप में मान्यता दी जाएगी। स्पष्ट कहा गया है कि पांच तारीख को डायरी न जमा करने वाले चिकित्सकों का उस माह का वेतन नहीं निकाला जाएगा। संबंधित नियंत्रक अधिकारी व आहरण-वितरण अधिकारी का दायित्व होगा कि दैनिक डायरी के निर्धारित प्रारूप में सूचना न उपलब्ध कराने वाले चिकित्सक का वेतन न आहरित किया जाए। पिछले माह का मासिक विवरण प्रस्तुत न करने वाले चिकित्सक का वेतन आहरित करने को वित्तीय अनियमितता माना जाएगा। सभी मुख्य चिकित्सा अधिकारियों व मुख्य चिकित्सा अधीक्षकों को अपनी अधीन चिकित्सकों से दैनिक रिपोर्ट लेकर हर सप्ताह स्वास्थ्य महानिदेशक को भेजनी होगी। स्वास्थ्य महानिदेशक हर दो सप्ताह (15 दिन) में अपनी आख्या शासन को भेजेंगे।

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